‘भागीदारी संकल्प मोर्चा में नहीं रहेगी AIMIM’, बीजेपी के साथ ओपी राजभर का गठबंधन होने पर आसिम वकार का बयान

यूपी विधानसभा चुनाव नजदीक आते ही सियासी गठजोड़ की राजनीति भी जोरों पर है. एक तरफ सपा ने छोटे दलों से गठबंधन का रास्ता खोल दिया है. तो वहीं बीजेपी इस मामले में सपा से भी आगे निकलती दिख रही है. बीजेपी खे खिलाफ मोर्चा खोलने वाले ओम प्रकाश राजभर एक बार फिर अपने पुराने सहयोगी के साथ गठबंधन के लिए पूरी तरह से तैयार दिख रहे हैं. ओपी राजभर ने एनडीए के खिलाफ जोर शोर से संयुक्त भागीदारी मोर्चा बनाया था. लेकिन अब इस मोर्चे के भविष्य पर काले बादल मंडराते दिख रहे हैं.
बीजेपी नेताओं को भला-बुरा कहने वाले ओपी राजभर ने अब यू टर्न लेते हुए बीजेपी से गठबंधन की संभावनाओं पर हामी भर दी है. भागीदारी मोर्चा बढ़ाने में जुटे ओपी राजभर का अचानक हृदय परिवर्तन हो गया है. राजभर कल तक जिसे अपना दुश्मन बता रहे थे, आज उसी के साथ अपनी बुनियादी मांगों के बल पर पुरानी दोस्ती बहाल करने के लिए तैयार दिख रहे हैं. ऐसे में सवाल ये है कि भागीदारी संकल्प मोर्चा का क्या होगा.
‘सभी घटक दल बीजेपी के साथ जाने पर सहमत’
ओपी राजभार का कहना है कि AIMIM को छोड़कर सभी घटक दल बीजेपी के साथ जाने पर सहमत हैं. उनका कहना है कि ओवैसी के साथ ही वह इस मुद्दे पर बात करेंगे. राजभर के इस बयान के बाद AIMIM के नेता आसिम वकार ने साफ कर दिया है कि अगर राजभर बीजेपी के साथ गठबंधन करते हैं तो पार्टी भागीदारी संकल्प मोर्चा का हिस्सा नहीं रहेगी. हालांकि फिलहाल बीजेपी की तरफ से इस पर कोई प्रतिक्रिया नहीं आई है.
गुम होता दिख रहा भागीदारी संकल्प मोर्चा
कहा जाता है कि राजनीति में कोई भी स्थायी दोस्त या दुश्मन नहीं होता. फिर बीजेपी के साथ तो ओपी राजभर का पुराना नाता रहा है. विधानसभा चुनाव करीब आते ही एक बार फिर राजभर का मन बदलने लगा है. वह फिर से बीजेपी के साथ जाने को तैयार दिख रहे हैं. ऐसे में भागीदारी संकल्प मोर्चा कहीं गुम होता दिख रहा है. वहीं किन मांगों पर राजभर बीजेपी के साथ जाने पर सहमत होंगे इस बात से अभी पर्दा नहीं हटया है. 27 अक्टूबर को होने वाली रैली में इस बात से पर्दा उठ सकेगा.