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लोकसभा के स्पीकर ओम बिरला ने कहा- नवंबर 2022 तक बनकर तैयार हो जाएगी नई संसद, खुद किया काम का निरीक्षण

लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने संसद के शीतकालीन सत्र के समापन के मौके पर लोकसभा की कार्यवाही के बारे में बताया. उन्होंने कहा कि शीतकालीन सत्र में व्यवधान के कारण 18 घंटे 48 मिनट से अधिक समय बर्बाद हुआ. हालांकि, महत्वपूर्ण विधेयकों पर चर्चा की गई और उन्हें मंजूरी दी गई. उन्होंने कहा कि सदन ने ओमिक्रॉन, जलवायु परिवर्तन और अन्य महत्वपूर्ण मुद्दों पर भी चर्चा की.

लोकसभा के स्पीकर ओम बिरला ने कहा कि सांसद अब डिजिटल तरीके का इस्तेमाल कर रहे हैं. भविष्य में सांसद डिजिटल तरीके से ही सभी सवाल पूछ सकेंगे. उन्होंने कहा, इस शीतकालीन सत्र में लोकसभा में करीब 82 फीसदी काम हुआ. उन्होंने बताया कि कोरोना पर 12 घंटे 26 मिनट चली बहस में 99 सांसदों ने हिस्सा लिया, जिसमें उन्होंने सदन के साथ कोरोना काल के दौरान अपने-अपने क्षेत्रों में किए गए सर्वोत्तम कार्यों के बारे में बताया.

कितना हुआ काम और कितने घंटे हुए बर्बाद?

संसद की नई बिल्डिंग को लेकर ओम बिरला ने कहा, ‘हमने नवंबर 2022 में संसद की नई बिल्डिंग का काम पूरा करने का लक्ष्य रखा है. कल भी मैंने इसका निरीक्षण किया था और निर्माण से जुड़ी कंपनियों से बात भी की है.’ उन्होंने बताया कि शीतकालीन सत्र में लोकसभा की कुल 18 बैठकों में 83 घंटे 12 मिनट काम हुआ. वहीं, हंगामे की वजह से सदन के 18 घंटे 48 मिनट बर्बाद हो गए.

2 दिसंबर को देर रात चला सदन

उन्होंने कहा, सत्र के दौरान 2 दिसंबर 2021 को सदन की कार्यवाही देर रात 12.20 बजे के बाद तक चली और उस दिन की उत्पादकता 204 प्रतिशत रही, जो हाल के वर्षों में किसी एक दिन की उत्पादकता में सर्वाधिक है. स्पीकर ने बताया कि लोकसभा में प्रश्नकाल के दौरान 91 सवालों के जवाब कार्यवाही के दौरान ही दिए गए. वहीं, 4140 सवालों के जवाब पटल पर रखे गए. उन्होंने कहा कि जनता के हित से जुड़े 378 विषय सदन के समक्ष रखे गए.

लोकसभा में पारित हुए 9 विधेयक

ओम बिरला ने बताया कि लोकसभा में शीतकालीन सत्र के दौरान 12 सरकारी विधेयक दोबारा स्थापित किए गए. कुल मिलाकर 9 विधेयक पारित हुए. इनमें से कृषि विधि निरसन विधेयक 2021, राष्ट्रीय औषध शिक्षा और अनुसंधान संस्थान (संशोधन) विधेयक 2021, केंद्रीय सतर्कता आयोग विधेयक (संशोधन) 2021, दिल्ली विशेष पुलिस स्थापन विधेयक (संशोधन) 2021 और निर्वाचन विधि (संशोधन) विधेयक 2021 शामिल रहे. उन्होंने बताया कि बाल विवाह प्रतिषेध (संशोधन) विधेयक 2021 को स्टैंडिंग कमेटी को भेजा गया.

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