हवा में जहर, दिवाली के पहले राजधानी की आबोहवा खराब
लखनऊ: गुलाबी ठंड की शुरुआत के साथ ही शहर में वायु प्रदूषण का स्तर भी तेजी से बढ़ने लगा है। पीएम 2.5 और पीएम 10 की मात्रा फेफड़ों को नुकसान पहुंचाने वाली हो गई है। दशहरे के बाद राजधानी का एयर क्वालिटी इंडेक्स 200 पार पहुंच गया है। यह हवा की खराब श्रेणी को बताता है। लखनऊ के साथ ही कानपुर, मेरठ समेत कई अन्य जिलों की भी आबोहवा खराब है। इसका मुख्य कारण मौसम में परिवर्तन और त्योहार के के दिनों में पूरे दिन सड़कों पर वाहनों की आवाजाही है। इससे शहर की आबोहवा प्रभावित हो रही है। जगह-जगह हो रहे निर्माण कार्य और वहां से उठने वाली धूल, पराली जलाना और ट्रैफिक जाम से भी शहर का हवा की गुणवत्ता खराब हो रही है। प्रदेश के वायु प्रदूषित शहरों की सूची में लखनऊ 11वें नंबर पर है।
राजधानी लखनऊ की बिगड़ी हवा
राजधानी लखनऊ की आबोहवा को बढ़ता प्रदूषण बिगाड़ रहा है। इसे देखते हुए जिला और मंडलीय स्तर पर हुई बैठकों में निर्देश दिए गए कि चौराहों पर जाम न लगने दें, क्योंकि इससे प्रदूषण स्तर बढ़ता है। जिला स्तर पर डीएम अभिषेक प्रकाश खुद एक दर्जन से अधिक बैठकों में निर्देश दे चुके हैं। इसके बावजूद न तो ट्रैफिक व्यवस्था सुधरी, न प्रदूषण ही घटा। लखनऊ के तालकटोरा की हवा सबसे ज्यादा जहरीली है। यहां का एक्यूआई 248 दर्ज किया गया है। हालांकि, यह पहले से बेहतर है। शुक्रवार को यहां का एक्यूआई 310 था। अन्य इलाकों के मुकाबले राजधानी में तालकटोरा का प्रदूषण सबसे ज्यादा रहा है।
प्रदेश के अन्य दूषित शहरों की स्थिति
- गाजियाबाद – 321
- आगरा- 308
- हापुड़- 305
- मेरठ- 301
- बागपत- 299
- नोएडा- 282
- मुरादाबाद – 250
- मुजफ्फर नगर- 234
- प्रयागराज- 223
- कानपुर- 217